मलेशिया के लोगों को सरकार के खिलाफ अपनी बात रखने का अधिकार मिल गया है। इससे पहले सरकार के खिलाफ बयानबाजी करने पर पांच लाख रिंगगिट (करीब 85 लाख रुपए) का जुर्माना और 6 साल जेल की सजा भुगतनी पड़ती थी। इस कानून को मार्च में पूर्व प्रधानमंत्री नजीब रजाक ने लागू किया था। तत्कालीन सरकार ने इसे फेक न्यूज कानून करार दिया था। सरकार के मलेशिया के लोगों को सरकार के खिलाफ अपनी बात रखने का अधिकार मिल गया है। इससे पहले ऐसा करने वालों को छह साल जेल और पांच लाख रिंगगिट (करीब 85 लाख रुपए) का जुर्माना भुगतना पड़ता था। यह कानून मार्च में पूर्व प्रधानमंत्री नजीब रजाक ने लागू किया था। तत्कालीन सरकार ने इसे फेक न्यूज कानून करार दिया था। सरकार के खिलाफ बोलने का हक छीनने वाले इस कानून की देशभर में आलोचना हो रही थी।
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